Home समाचार प्रमुख-समाचार 2 बार हुई थी अर्जुन की मृत्यु, दोनों ही बार हो गए पुनर्जीवित, जानें कब और कैसे हुई ये अनहोनी?

2 बार हुई थी अर्जुन की मृत्यु, दोनों ही बार हो गए पुनर्जीवित, जानें कब और कैसे हुई ये अनहोनी?

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कुंती पुत्र अर्जुन महाभारत के केंद्रीय पात्रों में से एक है। अर्जुन देवराज इंद्र के पुत्र और अवतार माने जाते हैं। अर्जुन से जुड़ी कईं रहस्यमयी कथाएं भी महाभारत में पढ़ने को मिलती हैं।

आपको ये जानकर आश्चर्य होगा कि अर्जुन की मृत्यु एक नहीं कईं बार हुई। इनमें से 2 बार तो अर्जुन पुनर्जीवित हो गए थे। कुंती पुत्र अर्जुन से जुड़ी ये कथाएं जितनी रहस्यमयी हैं उतनी ही रोचक भी हैं। आगे जानिए कब-कब हुई अर्जुन की मृत्यु और कैसे वे पुनर्जीवित हुए…

पहली बार कब हुई अर्जुन की मृत्यु?
महाभारत के अनुसार, वनवास के दौरान एक बार चलते-चलते द्रौपदी को बहुत प्यास लगी। तब सबसे पहले सहदेव पानी की तलाश में गए। उन्हें एक तालाब नजर आया। जैसे ही सहदेव उस तालाब से पानी लेने लगे तो वहां एक यक्ष प्रकट हुए और उसने कहा कि 'अगर तुम्हें इस तालाब का पानी चाहिए तो मेरे सवालों का उत्तर देना होगा, लेकिन सहदेव ने उनकी बातों पर ध्यान नहीं दिया और जैसे ही उस तालाब का पानी पिया उनकी मृत्यु हो गई। यही हाल बाद में नकुल, अर्जुन और भी का भी हुआ। अंत में युधिष्ठिर ने आकर यक्ष के सवालों का उत्तर दिया, जिससे सभी मृत कुंती पुत्र पुनर्जीवित हो गए।

दूसरी बार कब हुई अर्जुन की मृत्यु?
जब युधिष्ठिर हस्तिनापुर के राजा बने तो उन्होंने अश्वमेघ यज्ञ किया। उस यज्ञ के घोड़े का रक्षक अर्जुन को बनाया गया। चलते-चलते वह रथ मणिपुर जा पहुंचा। वहां का राजा बभ्रुवाहन अर्जुन की ही पुत्र था। अर्जुन के कहने पर ही उसने अपने पिता से युद्ध किया। इस युद्ध में अर्जुन की मृत्यु हो गई। बाद में अर्जुन की एक अन्य पत्नी उलूपी ने अपनी चमत्कारी मणि से अर्जुन को पुनर्जीवित कर दिया था। अपने पुत्र के हाथों अर्जुन की ये मृत्यु एक श्राप के कारण हुई थी।

तीसरी बार कब हुई अर्जुन की मृत्यु?
जब पांडव अपना राज-पाठ छोड़कर सशरीर स्वर्ग जाने के लिए निकले तो हिमालय पर्वत पर चढ़ते समय सबसे पहले द्रौपदी, फिर सहदेव और नकुल की मृत्यु हुई। इनके बाद अर्जुन की भी मृत्यु हो गई। जब भीम ने इसका कारण पूछा तो उन्होंने बताया कि 'अर्जुन ने ये प्रतिज्ञा ली थी, कि वह एक दिन में युद्ध जीत लेगा, लेकिन ऐसा कर नहीं पाया, इसलिए इनकी ये गति हुई है।

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